“स्वार्थी लोग भले ही दिखें बड़े और मेहनती, लेकिन उन्हें कभी अपनी नैतिकता गुमराह करने पर नहीं आना चाहिए।” – अज्ञात
“स्वार्थी लोग अपने लाभ के लिए दूसरों को नुकसान भी पहुंचा सकते हैं, इसलिए हमें हर चरण में सतर्क रहना चाहिए।” – चाणक्य
“स्वार्थी लोग ख़ुश रहने में कभी सफल नहीं हो सकते, क्योंकि ख़ुशियाँ विनम्रता और समर्पण से जुड़ी होती हैं।” – अज्ञात
“कभी मित्र रीति में ना पड़िए, वर्ना आप एक खुद से प्यार करने वाले नरकी हो जाएंगे।” – महात्मा गांधी
“स्वार्थी लोग शान से दूसरों को लोटा बनाते हैं, परंतु उन्हें यह नहीं समझते कि सच्चा लोटा ख़ुद गंदा हो जाता है।” – अज्ञात
“इंसान की पहचान उसकी आदतों से होती है, और स्वार्थी लोग तो अपने से चंगा कुछ नहीं कर पाते।” – चाणक्य
“स्वार्थी लोगों की सोच हमेशा अपने फायदे पर होती है, वह कभी दूसरों की मदद करने के बारे में सोचने का समय नहीं निकालते।” – अज्ञात
“स्वार्थी लोग आपकी सहायता करने के लिए तब आते हैं, जब उन्हें आवश्यकता होती है, इसलिए हद तक सतर्क रहें।” – चाणक्य
“स्वार्थी लोग हमेशा और सिर्फ़ अपने लिए सोचते हैं, इसलिए उनसे बचने के लिए आपको सतर्कता रखनी चाहिए।” – अज्ञात
“स्वार्थी लोग दूसरों के सपनों को तोड़ देते हैं, और फिर यह नहीं समझते कि उनके अपने सपनों का भी कोई महत्व नहीं रह जाता।” – चाणक्य
“स्वार्थी लोगों का मिज़ाज विकारी होता है, जिसे परिवर्तित करना आपके हाथ में नहीं है, परंतु सतर्कता आपके हक़ में है।” – अज्ञात
“किसी स्वार्थी इंसान में विश्वास करने के बजाय, अपने आप में विश्वास करें, क्योंकि आपकी सुरक्षा आपके हाथों में है।” – चाणक्य
“स्वार्थी लोग बड़ा वकील बन सकते हैं, परंतु उन्होंने इतिहास रचा हमेशा गंदी ही रचाई है।” – अज्ञात GRANDAD DEATH QUOTES
“विश्वास केवल सच्चे और समर्पित दोस्तों के साथ ही रखें, क्योंकि स्वार्थी लोग धूल में मिल जाएंगे।” – चाणक्य
“स्वार्थी लोग चाहें जितनी भी महनत करें, खुशी और संतोष के सुलगते हुए दरबार में कभी नहीं प्रवेश कर पाएंगे।” – अज्ञात
“स्वार्थी व्यक्ति खुद को लेकर हमेशा चिंतित रहते हैं, जबकि सच्चे लोग दूसरों का भी ध्यान रखने का समय निकालते हैं।” – चाणक्य
“स्वार्थी व्यक्ति सोचता है कि वह अपने लिए बड़ा कर रहा है, परंतु वास्तव में वह नष्टि की ओर बढ़ रहा है।” – अज्ञात
“जाहिल लोग स्वार्थी होते हैं, जो सिर्फ अपनी खुशी के लिए दूसरों की तकलीफ़ें बढ़ाते हैं।” – चाणक्य
“स्वार्थी लोग अपनी कंधों पर धूल गिरा सकते हैं, परंतु समाज को उपयोगी कोई अवस्था में पहुंचा करने का कोई समर्थन नहीं कर पाते।” – अज्ञात
“स्वार्थी लोग हमेशा अपर्याप्त सृजनशीलता के कारण हारते हैं, क्योंकि उन्हें दूसरों को खुश रखने की कला सीखने की आवश्यकता होती है।” – चाणक्य
“चचेरे लोग हमेशा अपने लिए सोचते हैं, और भाइयों के सपनों को थमा देते हैं।” – अज्ञात
“स्वार्थी लोग धन की भूख को कभी नहीं शान्त कर सकते, क्योंकि यह भूख विनम्रता और प्रेम को भी नष्ट कर देती है।” – चाणक्य
“स्वार्थी व्यक्ति कोई भी कार्य शांति और समृद्धि के माध्यम से नहीं कर सकता, वह उन्हें सिर्फ अपने फायदे के लिए उपयोग करेगा।” – अज्ञात
“नीच व्यक्ति स्वार्थी होता है, जो अपने लिए और दूसरों को नीच गिराने का ही सोचता है।” – चाणक्य